Friday, 12 April 2024

प्यार दो प्यार लो...

प्यार दो प्यार लो...

सुनते हैँ आजकल अक्सर...
खुद से प्यार करो,
अपना जीवन जियो...
तनिक थमो, ज़रा सोचो...
ताली एक हात से बजती नहीं 
होंठ अकेले खुलते नहीं 
आँखें एक साथ ही देखती,
कान साथ साथ सुनते, 
दिल भी धड़कता किसी और के लिए...
गती मिलती हैँ बस जोड़ी में ही..
सच,साथी के बिना क्या ख़ुशी संभव?
इसलिए जीवन के रंगों में,
प्यार और समर्थन के साथ,
हमें एक दूसरे से जुड़ना है,
संगीत की धुन में रंगना है।
एक साथ सपने सजाना है,
सुख दुःख बांटना हैँ
संघर्षों को मिलकर पार करना है...
अकेले नहीं, साथी के साथ ही ख़ुशी संभव 
इसलिए जीवन में साथी को धूंधो,
जो हर मुश्किल में साथ खड़ा हो,
प्रेम और सहयोग का एहसास कराए,
हर कठिनाई को आसान बनाए।
मिलकर बोझ उठाये, चट्टानों में राह बनाये
यह ज़िन्दगी का सफर हैँ दोस्तों
कोई दौड़ नहीं...और गर दौड़ भी हो
तो अकेले में मज़ा नहीं...
तो साथ चलो, साथ निभाओ सबका...
क्योंकि अकेले हम बहुत कम 
पर साथ हो तो बहुत ज़्यादा कर सकते...
इस लिए  बस, प्यार दो, प्यार लो...

मन विमल 

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